सीएम सचिवालय में अफसरों का कार्य आवंटन
भोपाल: मध्यप्रदेश के मुखिया डॉ.मोहन यादव ने राजधानी भोपाल में होने वाली ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट से पहले सीएमओ के अफसरों के बीच काम का बंटवारा कर दिया है। यह दूसरा मौका है, जब सीएम ने 15 महीनों के भीतर एक बार फिर अपनी टीम में फेरबदल किया है। इसमें सबसे खास नाम चंद्रशेखर वालिम्बे का है। वे प्रमोटी आईएएस अधिकारी हैं। सीएमओ में उनके पास एडिशनल सेक्रेटरी का पद है। अब उन्हें जीएडी, जीएडी कार्मिक, गृह, जनसंपर्क, पीडब्ल्यूडी, पीएचई, स्कूल शिक्षा, लॉ, जनजातीय कार्य, माइनिंग, वन, शहरी विकास, स्वास्थ्य विभाग, ट्रांसपोर्ट, जलसंशाधन, वाणिज्यिक कर, खाद्य एवं बाल विकास विभाग के बड़े काम सौंपे गए हैं। इसी के साथ जलबपुर और रीवा संभाग के समन्वय का काम दिया गया है।
इस कवायद से सीएम डॉ.मोहन यादव ने वालिम्बे का कद बड़ा कर सीधा मैसेज दिया है कि जो अफसर ईमानदारी और मेहनत से काम करेगा, उसका कद भी बढ़ा रहेगा। वालिम्बे की नियुक्ति में कई बड़े अधिकारी पिछड़ गए। डायरेक्टर भर्ती के आईएएस सिबि चक्रवर्ती एम. और टी.इलैया राजा पिछड़ गए। प्रदेश के प्रशासनिक इतिहास में संभवत: ऐसा पहली बार है, जब वालिम्बे के रूप में पहली बार सीधे माने जाने वाले अफसर को बड़े काम दिए गए हैं।
अब तक नहीं मिली फील्ड पोस्टिंग
वहीं, बड़ी बात यह भी है कि वालिम्बे प्रमोट होकर आईएएस तो बन गए, लेकिन उन्हें फील्ड पोस्टिंग अब तक नहीं मिली है। यानी वे कलेक्टर नहीं बन पाए। इसकी बड़ी वजह उनका सीधा होना ही रहा। वे अपनी पोस्टिंग के लिए लॉबिंग नहीं कर पाए। इसके इतर उनके सभी बैच मेट कलेक्टर बन चुके हैं। यहां तक कि उनकी पत्नी भावना वालिम्बे भी कलेक्टर पदस्थ रही हैं।
सीएम ने इस तरह किया काम का बंटवारा
डॉ.राजेश राजौरा, अपर मुख्य सचिव (एसीएस): कैबिनेट, सीएम के दौरे, कलेक्टर-कमिश्नर कॉन्फ्रेंस, सीएम की घोषणाएं, प्रशासनिक सुधार और नवाचार, राज्य के बड़े प्रोजेक्ट्स की मॉनीटरिंग, सिंहस्थ 2028 की मॉनीटरिंग और इंदौर-उज्जैन संभागों से जुड़ा प्रशासनिक समन्वय का काम दिया गया है।
सिबि चक्रवर्ती एम. सचिव: पंचायत एवं ग्रामीण विकास, उद्योग विभाग, उर्जा, पर्यटन, मैपआईटी, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक, सामाजिक न्याय, पर्यावरण, विमानन, कृषि, हॉर्टिकल्चर, पशुपालन-डेयरी, मछुआ कल्याण और मत्स्य विभाग, धार्मिक न्यास, संस्कृति के साथ ग्वालियर-चंबल और सागर संभाग के प्रशासनिक के समन्वय का जिम्मा।
टी.इलैया राजा, सचिव: वित्त विभाग, संसदीय कार्य, सहकारिता, श्रम, अनुसूचित जाति कल्याण, नर्मदा घाटी एवं विकास, आयुष, नवकरणीय उर्जा, कुटीर एवं ग्रामोद्योग, एमएसएमई, लोक सेवा प्रबंधन, राजस्व, टेक्निकल और हायर एजुकेशन विभाग का जिम्मा दिया गया है। इनके पास भोपाल, नर्मदापुरम और शहडोल संभाग के समन्वय का जिम्मा भी रहेगा।
चंद्रशेखर वालिम्बे, अपर सचिव: जीएडी, जीएडी कार्मिक, गृह, जनसंपर्क, पीडब्ल्यूडी, पीएचई, स्कूल शिक्षा, लॉ, जनजातीय कार्य, माइनिंग, वन, शहरी विकास, स्वास्थ्य विभाग, ट्रांसपोर्ट, जलसंशाधन, वाणिज्यिक कर, खाद्य एवं बाल विकास विभाग के काम सौंपे गए हैं। साथ ही जलबपुर और रीवा संभाग के समन्वय का काम दिया गया है।
अरुण परमार, अपर सचिव: मुख्यमंत्री के दौरे और सीएम हाउस में होम, जेल और युवा कल्याण विभाग को छोड़कर अन्य विभागों की ई-फाइलों पर अनुमोदन करेंगे। सीएम के दौरों और मुलाकात के कार्यक्रम तय करने की जिम्मेदारी दी गई है।
लक्ष्मण मरकाम, अपर सचिव: तकनीकी शिक्षा, रोजगार सृजन, पर्यटन, मैपआईटी, ग्रामीण विकास, जनजातीय कल्याण, उद्योग जैसे विषयों पर रणनीति को लेकर सुझाव देंगे।
अरविंद दुबे, अपर सचिव: एसीएस डॉ.राजेश राजौर को रिपोर्ट करते हुए उनके काम भी देखेंगे। साथ ही विधानसभा के काम और मुख्यमंत्री की बैठकों के लिए चर्चा के बिंदु तैयार करेंगे।
महेश चौधरी, ओएसडी: सांसद, विधायक और जनप्रतिनिधियों के साथ समन्वय करेंगे। सीएम की घोषणाओं की समीक्षा कर रिपोर्ट बनाएंगे। विजन डॉक्यूमेंट की जिम्मेदारी रहेगी।
राकेश गुप्ता, आईपीएस और ओएसडी: सुरक्षा से जुड़े कामों का समन्वय करेंगे। इनके पास गृह, जेल और खेल विभाग का काम रहेगा।